Charchaa a Khas
हिन्दी दिवस पर चित्तरंजन में किसलय ने किया द्विभाषी आयोजन
चितरंजन(प. बंगाल)। स्थानीय अमलादहि स्थित जनरव सांस्कृतिक क्लब के कार्यालय में सोमवार की देर शाम हिन्दी दिवस का आयोजन किया गया। इस आयोजन में हिन्दी व बंगला जगत के साहित्यकारों ने अहिन्दी भाषी क्षेत्र में हिन्दी का विकास कैसे विषय पर अपने सारगर्भित विचार रखे।विषय पर बोलते हुए हिन्दुस्तान केबल्स कारखाना के सेवानिवृत राजभाषा अधिकारी राजाराम यादव ने हिन्दी को जनमन की गंगा की संज्ञा देते हुए कहा इसे कहीं भी जबरन नहीं थोपा जाना चाहिए।
वहीं बंगला के वरिष्ट रचनाकार प्रदीप बनर्जी ने कहा अहिन्दी भाषी क्षेत्र में इसके विकास के लिए सहज और सरल तरीका ईमानदारी पुर्वक अपनाया जाना चाहिए। कवि मदन शर्मा ने मौके परअपनी कविता गणतंत्र के गूंगेपन को मिटाओ का पाठ कर एक अलग ही समां बांध दिया, जबकि शिक्षक हेमन्त गुप्ता ने कहा कि वो हिन्दी भाषी होने के बाबजूद उनकी प्राथमिक शिक्षा बंगला में हुई। भाषा कोई भी हो उसे श्रृंगार की तरह प्यार से अपनाना चाहिए। रेलकर्मी अचिन्तय सूपकार ने सरकारी कार्यों में अहिन्दी भाषियों को होने वाली दिक्कतों के कई संस्मरणों को साझा किया।
हिन्दी के विकास को समर्पित संस्था किसलय द्वारा आयोजित इस कार्यक्रम का संचालन करते हुए संस्था के सचिव पारो शैवलिनी ने मौके पर अपनी कविता हिन्दी तू भारत की गंगा है का पाठ किया। अंत में बंगला भाषी गायक कलाकार काजल राय चौधरी ने सत्यम शिवम सुंदरम गीत गाया।